जयपुर: राजस्थान में लोकसभा चुनाव नतीजों को लेकर कांग्रेस और भारतीय जनता पार्टी के बीच सियासी पारा चढ़ता जा रहा है. इस बीच सियासी जगत में मंत्री किरोड़ी लाल मीणा की टिप्पणी सुर्खियां बनी हुई है. इसमें उन्होंने धमकी दी कि अगर दौसा लोकसभा सीट से भारतीय जनता पार्टी का उम्मीदवार चुनाव हारता है तो वह अपने मंत्री पद से इस्तीफा दे देंगे. राजनीतिक गलियारों में चर्चा चल रही है कि 4 जून के चुनाव नतीजों के बाद मंत्री किरोड़ी लाल मीणा का इस्तीफा देना तय है. इस पर राजनीतिक विशेषज्ञों ने अपनी-अपनी व्याख्याएं पेश की हैं. इससे भारतीय जनता पार्टी की राजनीति में भूचाल आ रहा है. अब कांग्रेस के साथ-साथ भारतीय जनता पार्टी के नेता भी इस बात का इंतजार कर रहे हैं कि क्या वाकई किरोड़ी लाल मीणा अपने मंत्री पद से इस्तीफा देंगे.
सियासी गलियारों में बहस: क्या किरोड़ी लाल ने लिखा था इस्तीफा?
दौसा से भारतीय जनता पार्टी के उम्मीदवार के चुनाव हारने पर किरोड़ी लाल मीणा के इस्तीफे की पेशकश के बाद राजनीतिक सरगर्मी बढ़ गई है. इसे लेकर राजनीतिक जगत में खूब बहस हो रही है. किरोड़ी लाल मीना को लेकर अटकलें तेज हो गई हैं कि किरोड़ी लाल मीना 4 जून के बाद अपने मंत्री पद से इस्तीफा दे देंगे. इसकी वजह किरोड़ी लाल मीणा का बयान बताया जा रहा है. इसको लेकर काफी चर्चा हो रही है.
उन्होंने सात सीटों का जिक्र किया लेकिन उनके नाम नहीं बताये.
इसमें किरोड़ी लाल मीणा ने खुलासा किया कि लोकसभा चुनाव के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें सात लोकसभा सीटों की जिम्मेदारी दी थी. हालांकि उन्होंने इन लोकसभा सीटों के नाम नहीं बताए, लेकिन कहा जा रहा है कि अगर बीजेपी चुनाव में एक भी लोकसभा सीट हारती है तो किरोड़ी लाल इस्तीफा दे सकते हैं. हालाँकि, ये सब अटकलें हैं। यह तो वक्त ही बताएगा कि क्या किरोड़ी लाल मीणा वाकई 4 जून के बाद इस्तीफा देते हैं या नहीं. किरोड़ी लाल मीणा के प्रस्तावित इस्तीफे को लेकर कई तरह की अटकलें लगाई जा रही हैं.
आपको बता दें कि मंत्री किरोड़ी लाल मीणा ने दौसा लोकसभा सीट से भारतीय जनता पार्टी के उम्मीदवार कन्हैया लाल मीणा को जिताने की पूरी कोशिश की है. इस दौरान किरोड़ी लाल मीना ने मीना महापंचायत समुदाय में चिल्लाते हुए धमकी दी कि अगर कन्हैया लाल दौसा चुनाव हार गए तो वह मंत्री पद से इस्तीफा दे देंगे और उनका एक वीडियो सोशल मीडिया पर फैल गया. किरोड़ी लाल मीणा की टिप्पणी से राजनीतिक जगत में बड़ा भूचाल आ गया है. वहीं, राजनीतिक जानकार इस बयान के पीछे तरह-तरह की अटकलें लगा रहे हैं. क्या विरोध प्रदर्शन को ‘गायब’ कर रहे हैं किरोड़ी लाल मीना? बता दें कि किरोड़ी लाल मीना के इस्तीफे के प्रस्ताव पर राजनीतिक विशेषज्ञों की अपनी-अपनी व्याख्या है. लेकिन किरोड़ी लाल मीणा का सार हमेशा विरोध, प्रदर्शन और आंदोलन करना रहा है. दूसरी ओर, यह एक गर्म विषय बन गया है कि उन्होंने एक बयान में कहा कि वह विरोध प्रदर्शनों और प्रदर्शनों को बहुत याद करते हैं। इस स्थिति के जवाब में राजनीतिक जानकार उनकी इस टिप्पणी को इस्तीफे की पेशकश से जोड़ रहे हैं. ऐसे में सवाल खड़ा हो गया है कि क्या किरोड़ी लाल मीणा अपने मंत्री पद से इस्तीफा देकर फिर से विरोध का रास्ता अपनाएंगे. क्या किरोड़ी लाल मीणा अपनी सरकार के खिलाफ मुद्दों पर प्रदर्शन करेंगे? फिलहाल मंत्री किरोड़ी लाल मीणा की राजनीति पर तमाम सवालों की नजर है.
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